वनांचल स्वर: पहाड़ो पर स्थित किले और वन संपदा...
ग्राम-हिंदुबिना पाल, जिला-कांकेर (छत्तीसगढ़) शेर सिंह आँचला जी अन्तगढ़ विकास खंड के अंतर्गत कोटगुमल नामक जगह है जहां से तीन पहाड़ियों के तिल दिखाई पड़ता है। जिसके पठार पर पहले अच्छे किले थे, हज़ारो साल पहले राजाओं का वास रहा है। सुरक्षा की दृष्टि से बढ़िया जगह थी वो आज उसे हिंदुबिनापाल कहा जाता है लेकिन पहले उसे गढ़बिनापाल से जाना जाता था। वहां पर हमने काफी अवशेष ढूंढे थे, वो जगह ऊँचाई पर स्थित है, देव स्थल भी हैं। गाओं वाले चाहते है वो जगह सुरक्षित रहे, पेड़ो की कटाई बन्द है। बाहरी लोग लालच में आकर पेड़ो की कटाई कर रहे हैं। खनिज संपदा को निकालने के कारण यह सब हो रहा है। इन सभी की सुरक्षा जरूरी है, आने वाली पीढ़ियों के लिए। ये सभी बहुमूल्य संपत्ति है। साल का बीज अभी भी पहाड़ पर है, वैन समितियों को बीज संरक्षण करने की जरूरत है। (MS)
Posted on: Apr 01, 2021. Tags: CG KANKER SHERSINGH ACHALA VANANCHAL SWARA
वनांचल स्वर: भारत भंडारी जी महुआ के विषय में बता रहे हैं...
ग्राम- बाँगाचार, ब्लॉक-दुर्गकोन्दल, जिला-उतर बस्तर कांकेर (छत्तीसगढ़) से हलबा जनजाति के सक्रिय सदस्य और पेशे से शिक्षक, भारत भंडारी जी महुआ के विषय में बता रहे हैं। उनके जीवन में प्रकृतिक, पूजा पाठ और विवाह की दृष्टि से महुआ का काफी महत्व है। महुआ का फूल फरवरी से अप्रेल के बीच में गिरता है। महुआ को बेचकर यह लोग अपना घर चलाते हैं। (MS)
Posted on: Apr 01, 2021. Tags: CG HALBA JANJATI KANKER VANANCHAL SWARA
पीड़ितों का रजिस्टर: जेल से आने के बाद उनकी तबियत बिगड़ने लगी और कुछ दिनों के बाद उनकी मृत्यु हो गयी|
ग्राम-निबरा, ब्लाक-अंतागढ़, जिला-उत्तर बस्तर कांकेर (छत्तीसगढ़) से खोरी बता रहे हैं, वे पहले आमाबेड़ा कोलयारी गांव में रहतें थे, वर्तमान में अपना गांव छोड़ कर निबरा गांव में आकर अपना जीवन यापन कर रहे हैं| उनके पति को पुलिस वालों ने नक्सली समझ कर जेल भेज दिया था, जेल से आने के बाद उनकी तबियत बिगड़ने लगी और कुछ दिनों के बाद उनकी मृत्यु हो गयी| अभी तक उन्हें सरकार की तरफ से कोई मदद नही मिली है| (MS)
Posted on: Apr 01, 2021. Tags: CG KANKER KHORI VICTIM REGISTER
वनांचल स्वर: बुजुर्ग ने किया साहस प्रयोग के लिए दी ज़मीन-
ग्राम-दमकसा, जिला-कांकेर (छत्तीसगढ़) शेर सिंह आँचला जी ने बताया कि यह भूमि उनके लिए बहुत महत्वपूर्ण है उनके पूर्वज यहाँ 17वीं-18वीं शताब्दी के आस पास आए। ये अध्यापक थे। लोगो को जागरूक और वन बचाने के लिए संगठन बनाया और पंजीकरण भी करवाया । इसी को ध्यान रखते हुए अपनी जमीन पर एक प्रयोग किया नर्सरी बनवाकर, और कई तरह की विलुप्त होने वाली औषदियाँ भी लगाई। अब लोग जागरूक होने लगे हैं। गिलोय, भूलिम, आंवला के पेड़ लगाए गए। सुरक्षा का अभाव था, कार्यशालाएं भी चल रही हैं। हर वर्ष 5 जून को पर्यावरण दिवस भी मनाते हैं। जब तक लोगो में जागरूकता और सहयोग नही है तब तक कोई सफलता नही मिलेगी। मुझे प्रकृति पर्यावरण पर आस्था है। या फ़िनलैंड से विदेशी आए थे, अमेरिका से भी कुछ दिन पहले यहां आए थे, दिल्ली से भी आते रहते हैं। (MS)
Posted on: Apr 01, 2021. Tags: CG KANKER SHERSINGH ACHALA VANANCHAL SWARA
स्वास्थ्य स्वर : कोरिया पेड़ का औषधियों उपचार-
ग्राम-हिटारकसा, ब्लॉक-भानुप्रतापपुर, जिला-कांकेर (छत्तीसगढ़) से वीर सिंह पटेल औषधियों के बारे में बताते हैं। उबके हिसाब से कोरिया का पेड़ सर्वोत्तम औषधि है। इसको सर्दी, गर्मी खांसी जुखाम में इलाज के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है। नीम की छाल और पत्तों को भी अच्छी औषधि माना जाता है।